टाइगर सफारी प्रोजेक्ट के लिए 163 की अनुमति लेकर काट दिए 6 हजार पेड़, FSI की रिपोर्ट से हड़कंप

ऋषिकेश। भारतीय वन सर्वेक्षण ‘एफएसआई’ ने अपनी रिपोर्ट में कहा है कि कॉर्बेट बाघ अभयारण्य के कालागढ़ वन प्रभाग में ‘टाइगर सफारी’ शुरू करने के लिए वृक्षों के अवैध कटान का खुलासा किया है। रिपोर्ट में कहा गया कि 6,000 से अधिक पेड़ अवैध रूप से काटे गए थे। उत्तराखंड वन विभाग ने ‘टाइगर सफारी परियोजना’ के लिए यह कहते हुए केंद्रीय वन, पर्यावरण एवं जलवायु परिवर्तन मंत्रालय की मंजूरी ली थी कि इस प्रक्रिया में केवल 163 पेड़ काटे जाएंगे।

कॉर्बेट बाघ अभयारण्य के कालागढ़ वन प्रभाग में पेड़ के अवैध कटान पर एफएसआई ने अपनी रिपोर्ट में कहा है कि कालागढ़ वन प्रभाग के अंतर्गत पखरो में ‘टाइगर सफारी परियोजना’ के लिए 163 के स्थान पर 16.21 हेक्टेयर भूमि में लगे 6,093 पेड़ काटे गए। इस साल जून में एफएसआई द्वारा किए गए एक सर्वेक्षण पर आधारित यह रिपोर्ट हाल ही में उत्तराखंड के वन बल के प्रमुख विनोद कुमार सिंघल को सौंपी गई थी।

टिप्पणियों के साथ उत्तराखंड सरकार को भेजी गई रिपोर्ट

संपर्क करने पर सिंघल ने कहा कि वह एफएसआई के सर्वेक्षण के लिए नमूने लेने की तकनीक से असहमत हैं। सिंघल ने बताया कि उन्होंने अपनी टिप्पणियों के साथ एक रिपोर्ट उत्तराखंड सरकार और एफएसआई को भेज दी गई है।

वृक्षों के अवैध कटान में वन अधिकारियों की भी रही मिलीभगत

कॉर्बेट के बफर जोन में पेड़ों की अवैध कटाई और वहां हुए अवैध निर्माण की जांच लगभग आधा दर्जन समितियों द्वारा की गई है। इन समितियों ने मामले में वन अधिकारियों की संलिप्तता पाई है।

जांच में दोषी वन अधिकारियों को किया गया निलंबित

मामला सामने आने के बाद जांच समितियों द्वारा दोषारोपित किये जाने पर इनमें से कई वन अधिकारियों पर कार्रवाई की गई है। वन अधिकारियों को या तो स्थानांतरित या फिर निलंबित कर दिया गया है।

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