जनमत संग्रह खत्म होते ही यूक्रेन में परमाणु हमला! रूस ने जारी की चेतावनी

मास्को। राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन के एक सहयोगी ने मंगलवार को यूक्रेन और पश्चिम के लिए एक नई परमाणु चेतावनी जारी की है. यूक्रेन में युद्ध के दौरान हाल में रूसी सेना को मिल रही शिकस्त के बीच राष्ट्रपति व्लादिमिर पुतिन पिछले सप्ताह से ही मॉस्को द्वारा परमाणु हथियार के उपयोग के विकल्प की बात कर रहे हैं. यूक्रेन के खेरसोन, जापोरिज्जिया, लुहान्स्क और दोनेत्स्क में शुक्रवार से शुरू हुआ मतदान और पुतिन द्वारा रूसी सेना के रिजर्व बलों को बुलाया जाना, उन रणनीतियों में शामिल है जिनके माध्यम से मास्को खुद को मजबूत दिखाने का प्रयास कर रहा है.

राष्ट्रपति पुतिन की अध्यक्षता वाली रूस की सुरक्षा परिषद के उपप्रमुख दमित्री मेदवेदेव ने बेहद स्पष्ट और कड़े शब्दों में मंगलवार को यह धमकी दी. संदेश भेजने वाले ऐप चैनल पर मेदवेदेव ने लिखा है, ‘‘कल्पना करें कि अगर रूस उस यूक्रेनी शासन के खिलाफ सबसे ताकतवर (विध्वंसकारी) हथियार का उपयोग करने पर बाध्य होता है, जो (यूक्रेन) बड़े पैमाने पर आक्रामक कार्रवाई कर रहा है और हमारे राष्ट्र के अस्तित्व के लिए खतरा बन गया है.’’

बाल्टिक सागर में गैस पाइपलाइन में रिसाव के बाद आई धमकी
उन्होंने लिखा है, ‘मुझे विश्वास है कि ऐसी परिस्थिति में नाटो सीधे तौर पर युद्ध में हिस्सा लेने से बचेगा.’ बता दें कि रूस यूक्रेन के कब्जा किये हुए चार इलाकों में जनमत संग्रह करा रहा है. आशंका जताई जा रही है कि जल्द ही इसके परिणाम का ऐलान किया जाएगा. जनमत संग्रह के बाद रूस इन इलाकों को अपनी जमीन होने का घोषणा कर देगा. मॉस्को द्वारा न्यूक्लियर हमले की धमकी की बात तब सामने आई है, जब बाल्टिक सागर में गैस पाइपलाइन में रिसाव की खबरें सामने आई हैं. बता दें कि इन पाइपलाइनों के जरिये रूस यूरोप को गैस भेजता है.

रूस की कई चेतावनी में से एक है मेदवेदेव की धमकी
मंगलवार को इन पाइपलाइनों से गैस का रिसाव शुरू की घटना सामने आई थी. पश्चिम के साथ मास्को के टकराव ने वैश्विक मुद्रास्फीति को बढ़ा दिया है और यूक्रेन पर 24 फरवरी के आक्रमण के बाद से कई देशों में ऊर्जा और खाद्य संकट तेज कर दिया है, जिसके कारण रूस के खिलाफ पश्चिमी प्रतिबंधों को कड़ा करना पड़ा. रूस की सुरक्षा परिषद के उपाध्यक्ष दिमित्री मेदवेदेव द्वारा मंगलवार की परमाणु चेतावनी, हाल के हफ्तों में पुतिन और उनके सहयोगियों द्वारा जारी कई चेतावनी में से एक है.

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